अहमदाबाद न्यूज डेस्क: अहमदाबाद के शाहपुर इलाके में एक हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है, जहां एक भाजपा कार्यकर्ता ने सरकारी शौचालय को तोड़कर अपनी दुकान खोल दी। दिल्ली दरवाजा के पास बना यह पब्लिक टॉयलेट उस दुकान के सामने था और दुकानदार को यह अच्छा नहीं लग रहा था। इसलिए उसने बिना किसी अनुमति के शौचालय तुड़वाकर वहां “श्री विजय गोपाल भजिया हाउस” नाम से दुकान खोल दी।
इस घटना को हुए दो महीने हो चुके हैं, लेकिन हैरानी की बात ये है कि अभी तक न तो नगर निगम की ओर से कोई कार्रवाई हुई और न ही भाजपा के किसी पदाधिकारी ने संज्ञान लिया। स्थानीय कांग्रेस पार्षद अकबरी भट्टी ने इसे गरीबों की सुविधाओं पर हमला बताते हुए भाजपा नेताओं पर मिलीभगत का आरोप लगाया है।
नगरसेविका रेखाबेन चौधरी ने सफाई दी कि उन्हें तो सिर्फ शौचालय की गंदगी की शिकायत मिली थी, उन्होंने अधिकारियों को साफ-सफाई के लिए कहा था। मगर यह जानकारी नहीं है कि शौचालय को किसने गिराया और कब। इससे पहले शास्त्रीनगर में भी ऐसा ही मामला सामने आया था, लेकिन वहां भी कोई कार्रवाई नहीं हुई।
अब सवाल उठता है कि जब आम लोगों की बुनियादी जरूरतों के लिए बनाए गए संसाधन राजनीतिक ताकत के आगे ध्वस्त हो जाएं और प्रशासन चुप बैठा रहे, तो आम जनता कहां जाए? अब सबकी निगाहें शाहपुर वार्ड पर हैं — क्या इस बार टूटा शौचालय फिर से बनेगा या यह मामला भी पुरानी फाइलों में गुम हो जाएगा?